सीधे मुख्य सामग्री पर जाएं

हिंदू समाज का मनोविज्ञान | तु ना रिं | ₹19 PDF Book

हिंदू समाज का मनोविज्ञान | तु ना रिं | ₹19 PDF Book

📘 हिंदू समाज का मनोविज्ञान (₹19 PDF) — तु ना रिं

हिंदू समाज का मनोविज्ञान पुस्तक कवर

📖 पुस्तक विवरण

पुस्तक नाम: हिंदू समाज का मनोविज्ञान
लेखक: तु ना रिं
प्राइस: ₹19 (PDF)
प्रकाशन: सनातन संवाद
श्रेणी: आध्यात्मिकता | समाजशास्त्र | दर्शन | मनोविज्ञान
भाषा: हिंदी


🧠 पुस्तक किस बारे में है?

यह पुस्तक किसी पर आरोप नहीं लगाती, बल्कि हिंदू समाज की सोच का आईना प्रस्तुत करती है। धर्म कभी खतरे में नहीं होता—खतरे में होती है वह सोच जो धर्म को जीती है। यह किताब उन लोगों के लिए है जो कड़वा सच सहने और स्वयं को बदलने का साहस रखते हैं।

आज समाज में भावना तो है, पर दिशा नहीं… क्रोध है, पर चरित्र नहीं… नारे हैं, पर नियम नहीं… पूजा है, पर अर्थ नहीं… धर्म दिखता है, पर जीवन में उतरता नहीं… यही प्रश्न इस पुस्तक का केंद्र है।


✨ Key Features

  • हिंदू मनोविज्ञान की गहरी व्याख्या
  • धार्मिक सोच बनाम व्यवहार का विश्लेषण
  • सामाजिक आदतों का मनोवैज्ञानिक अध्ययन
  • आत्मचिंतन और परिवर्तन को प्रेरित करती शैली

📌 यह पुस्तक किसके लिए है?

  • हिंदू समाज और संस्कृति को समझने वाले
  • आध्यात्मिक साधक
  • युवा, शोधार्थी, विचारक
  • वे लोग जो अपने भीतर झाँकना चाहते हैं

🌟 Highlights

  • समाज और धर्म का गहरा मनोवैज्ञानिक विश्लेषण
  • जीवन में लागू होने वाला चिंतन
  • प्रश्न आधारित विचार शैली

📥 Buy PDF (₹19)

👉 PDF अभी डाउनलोड करें (₹19)



📄 पुस्तक के कुछ पेज

पेज 1 पेज 2 पेज 3 पेज 4 पेज 5 पेज 6

✍️ लेखक परिचय

तु ना रिं आधुनिक सामाजिक और आध्यात्मिक विषयों पर लिखने वाले चिंतनशील लेखक हैं। इनकी लेखनी पाठक को स्वयं से सामना कराती है — सरल, सच्ची और जागरणकारी।


❓ FAQ – अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

  • यह पुस्तक किस विषय पर है? — हिंदू समाज की सोच, मनोविज्ञान और विरोधाभासों का गहरा अध्ययन।
  • क्या PDF उपलब्ध है? — हाँ, केवल ₹19 में।
  • कहाँ से खरीदें? — नीचे दिए लिंक से।

👉 अभी खरीदें (₹19)



टिप्पणियाँ